स्क्रैप कारोबारियों की आपसी मारपीट, जानलेवा हमले और पुलिस की एकपक्षीय कार्रवाई में नपे Adityapur थानेदार !
सरायकेला : Adityapur में स्क्रैप कारोबारियों के आपसी मारपीट से जुड़े एक मामले में गुरूवार को कदमा निवासी तरुण घोष ने कथित स्क्रैप माफिया टीमल जयसवाल, अभिषेक जयसवाल, आदर्श जयसवाल और राजेंद्र जयसवाल के विरुद्ध पुलिस में प्राथमिकी दर्ज कराई है। उनके अनुसार, उनका भगीना रितम दास और उसके मालिक अमित सिंह को आरोपितों ने लोहा टाल में बंधक बनाकर जानलेवा हमला किया गया। आरोपियों में अभिषेक जयसवाल, अमित जयसवाल उर्फ टीमल, और अन्य 20-25 लोग शामिल थे।
Monthly रंगदारी मांगने से शुरू हुआ था विवाद
शिकायतकर्ता के मुताबिक, इस हमले का कारण पिछले महीने टीमल जैसवाल और उसके भाई अभिषेक ने कदमा निवासी अमित सिंह से 5 लाख रुपये अग्रिम भुगतान लिया था। अमित सिंह से पैसा लेने के बाद भी लोहे की डिलीवरी नहीं दी गई। इसके बाद से एसपी और थाना को मैनेज करने के नाम पर Monthly रंगदारी के रूप में और पैसे की मांग की गई। नहीं देने पर एक दो मौकों पर RPF और स्थानीय पुलिस की संलिप्तता से फ़र्ज़ी छापेमारी करवाई गई जिससे अमित सिंह और उनके पार्टनर करण सिंह का व्यवसाय बुरी तरह प्रभावित हुआ। हालांकि इस छापेमारी में कोई भी संदिग्ध वस्तु कभी जब्त नहीं हुआ। इन्हीं सब पैसों के लेनदेन के विषय में जब अमित सिंह और उनके स्टाफ़ रितम दास बातचीत के लिए आदित्यपुर घोड़ाबाबा चौक स्थित अभिषेक जयसवाल और टीमल जयसवाल के स्क्रैप गोदाम पहुंचें तो आरोपियों ने उन पर जानलेवा हमला कर दिया और बंधक बना लिया।
जायसवाल बंधुओं पर बंधक बना कर मारपीट का आरोप
दर्ज प्राथमिकी में उल्लेख है कि, घटना के दौरान अमित सिंह के गले में गमछा बांधकर जान से मारने की कोशिश की गई, जबकि टीमल जयसवाल ने कमर से पिस्तौल निकालकर अमित सिंह के मुँह में सटा दिया था। हमलावरों ने अमित सिंह की सोने की चैन और 50 हजार रुपये नकद भी छीन लिए। घटना की जानकारी मिलने पर पुलिस मौके पर पहुंची और दोनों को बचाया। अमित सिंह को बंधक से छुड़ाने पहुंचे उनके कुछ साथियों को गंभीर चोटें आईं, जिनका इलाज MGM अस्पताल में चल रहा है।
अभिषेक और टीमल पर पहले से दर्ज है कई आपराधिक मामले
इस घटना में संलिप्त अभिषेक और टीमल जयसवाल के नाम पहले भी कई संगीन आपराधिक मामलों में दर्ज हैं जिनमें लोहा और स्क्रैप चोरी और डकैती शामिल हैं। वे व्यापारियों से अवैध वसूली और धमकी देने के लिए कुख्यात हैं। पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है और दोषियों पर कार्रवाई का आश्वासन दिया है।
एकपक्षीय कार्रवाई में नप गए थाना प्रभारी !
बताया जाता है कि आदित्यपुर थाना प्रभारी कल से ही स्क्रैप कारोबारी जयसवाल बंधु के पक्ष में एकपक्षीय कार्रवाई कर रहे थें। दूसरे पक्ष के प्राथमिकी आवेदन को भी अस्वीकार्य कर दिया गया था, लेकिन गुरुवार सुबह से यह मामला हाई प्रोफाईल बन गया था और किसी ने आदित्यपुर थाना प्रभारी नितिन सिंह की भूमिका पर प्रश्न चिन्ह लगाते हुए DGP अनुराग गुप्ता और सरायकेला SP मुकेश लुनायत तक शिकायत भेज दिया था। वरीय पदाधिकारियों से फटकार मिलने पर गुरुवार को आदित्यपुर थाना प्रभारी नितिन कुमार ने स्क्रैप कारोबारी जयसवाल बंधुओं के विरुद्ध प्राथमिकी दर्ज किया। लेकिन दोपहर में ही उन्हें लाईन क्लोज करने संबंधित विभागीय आदेश जारी हो गया और उनकी जगह पर नये थाना प्रभारी के तौर पर राजीव कुमार सिंह ने गुरूवार शाम को ही योगदान दे दिया है। इस मामले में जयसवाल बंधुओं द्वारा दर्ज कराई गई प्राथमिकी में एक कारोबारी अमित सिंह और उनके स्टाफ़ को देर शाम आदित्यपुर थाना ने गिरफ़्तार कर के चलान कर दिया था। लेकिन स्वास्थ्य परीक्षण में देरी और कोर्ट बन्द हो जाने के कारण पुलिस को बैरंग लौटना पड़ा। अब पुलिस शुक्रवार को संभवतः अमित सिंह और उनके स्टाफ़ को जेल भेज सकती है। इस पूरे मामले में आदित्यपुर थाना का स्क्रैप कारोबारी जयसवाल बंधुओं के प्रति नरम रवैया चर्चा का विषय बना हुआ है।
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